मुंबई-नागपुर एक्सप्रेसवे: समृद्धि महामार्ग की पूरी जानकारी, निर्माण और लाभ, 55,000 करोड़ रुपये की लागत से बनी है..!

By akhilesh Roy

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मुंबई-नागपुर एक्सप्रेसवे: महाराष्ट्र का सबसे बड़ा समृद्धि महामार्ग

महाराष्ट्र में Mumbai-Nagpur Expressway एक क्रांतिकारी project है, जो राज्य की दो प्रमुख राजधानियों मुंबई और नागपुर को जोड़ता है। यह 701 किलोमीटर लंबा छह लेन वाला एक्सप्रेसवे है, जो 10 जिलों से गुजरता है और मराठवाड़ा तथा विदर्भ क्षेत्रों को विकास की मुख्यधारा से जोड़ता है। इसका आधिकारिक नाम हिंदू हृदयसम्राट बालासाहेब ठाकरेज महाराष्ट्र समृद्धि महामार्ग है, जो देवेंद्र फडणवीस की कल्पना से शुरू हुआ। मेरे 20 वर्षों के पत्रकारिता अनुभव में, ऐसे infrastructure marvels ने कई राज्यों में आर्थिक उछाल लाया है, जहां कनेक्टिविटी समृद्धि की कुंजी बनती है।

यह expressway यात्रा समय को 16 घंटों से घटाकर 8 घंटे कर देगा, जो 150 किमी/घंटा की गति के लिए डिजाइन किया गया है। महाराष्ट्र राज्य सड़क विकास निगम (MSRDC) द्वारा संचालित यह परियोजना 55,000 करोड़ रुपये की लागत से बनी है, जिसमें 24 इंटरचेंज और 6 टनल शामिल हैं। इससे logistics और व्यापार को बढ़ावा मिलेगा, साथ ही जेएनपीटी बंदरगाह से मिहान तक तेज कनेक्टिविटी बनेगी। कुल मिलाकर, यह महामार्ग राज्य की समग्र economic growth को नई दिशा देगा और लाखों लोगों का जीवन आसान बनाएगा।

निर्माण चरण और प्रगति

Mumbai-Nagpur Expressway का निर्माण चार चरणों में पूरा हुआ है, जहां पहला चरण नागपुर से शिरडी तक दिसंबर 2022 में खुला। दूसरा चरण शिरडी से भरवीर खुर्द तक मई 2023 में, तीसरा भरवीर खुर्द से इगतपुरी तक मार्च 2024 में और चौथा इगतपुरी से मुंबई तक जून 2025 में पूरा होगा। MSRDC ने 16 पैकेज में काम बांटा है, जिसमें अफकॉन्स, L&T और अन्य कंपनियां शामिल हैं। मेरे अनुभव से, ऐसे phased developments परियोजनाओं को समय पर पूरा करने में मदद करते हैं, लेकिन मौसम और भूमि अधिग्रहण जैसी चुनौतियां हमेशा रहती हैं।

वर्तमान में, 701 किमी में से अधिकांश हिस्सा चालू है, और पूर्ण रूप से जून 2025 तक खुलने की उम्मीद है। Construction progress में 65 फ्लाईओवर, 24 इंटरचेंज और 6 टनल शामिल हैं, जो अंतरराष्ट्रीय मानकों पर बने हैं। इससे safety features जैसे सीसीटीवी और इमरजेंसी बूथ सुनिश्चित हुए हैं। कुल मिलाकर, यह प्रगति महाराष्ट्र को देश का सबसे तेज सड़क नेटवर्क वाला राज्य बनाएगी, जहां sustainable engineering पर जोर दिया गया है।

रूट और जुड़ने वाले क्षेत्र

Mumbai-Nagpur Expressway का रूट अमाने गांव (ठाणे) से शुरू होकर शिवमड़का (नागपुर) तक जाता है, जो ठाणे, नासिक, अहमदनगर, औरंगाबाद, जलना, बुलढाना, वाशिम, अमरावती, वर्धा और नागपुर जिलों से गुजरता है। यह 24 तालुकाओं और 392 गांवों को छूता है, जिसमें शिरडी, औरंगाबाद और वर्धा जैसे प्रमुख शहर शामिल हैं। इससे regional connectivity मजबूत होगी और ग्रामीण इलाकों को शहरों से जोड़ेगी। मेरे लंबे करियर में, ऐसे route alignments ने पिछड़े क्षेत्रों में नई उम्मीद जगाई है, जहां विकास की लहर पहुंची है।

यह महामार्ग Delhi-Mumbai Industrial Corridor और अन्य राष्ट्रीय कॉरिडोर से जुड़ेगा, जो जेएनपीटी बंदरगाह को मिहान से लिंक करेगा। Strategic interchanges से 14 अन्य जिलों को फीडर रोड्स से जोड़ा जाएगा। इससे पर्यटन सर्किट जैसे इको, पिलग्रिम और हेरिटेज को बढ़ावा मिलेगा। कुल मिलाकर, यह रूट महाराष्ट्र की geographical diversity को एकजुट करेगा और लंबी दूरी की यात्रा को सुगम बनाएगा।

डिजाइन और विशेषताएं

Mumbai-Nagpur Expressway का डिजाइन 120 मीटर चौड़ा है, जिसमें 22.5 मीटर का मध्यांतर और कंधे शामिल हैं। यह 150 किमी/घंटा की गति के लिए तैयार है, लेकिन कानूनी सीमा 120 किमी/घंटा है। Intelligent traffic management सिस्टम से वाहनों की निगरानी होगी, और हर 40-50 किमी पर रेस्ट एरिया और ईवी चार्जिंग स्टेशन होंगे। मेरे अनुभव से, ऐसी design features सड़क सुरक्षा को बढ़ाती हैं और यात्रियों को आराम प्रदान करती हैं, जो लंबे सफर में जरूरी है।

यह महामार्ग greenfield alignment पर बना है, जिसमें 32 प्रमुख पुल, 65 फ्लाईओवर और 400 से अधिक अंडरपास हैं। Optical fiber और गैस पाइपलाइन के लिए प्रावधान है, जो इसे डिजिटल यूटिलिटी कॉरिडोर बनाता है। इससे zero fatalities का लक्ष्य है और आपात स्थिति में रनवे के रूप में उपयोग हो सकता है। कुल मिलाकर, यह डिजाइन महाराष्ट्र को energy efficient और सुरक्षित सड़क नेटवर्क देगा, जो भविष्य की जरूरतों को पूरा करेगा।

नए शहरों का विकास और प्रभाव

Mumbai-Nagpur Expressway के साथ 19 नए शहरों का विकास होगा, जिन्हें कृषि समृद्धि नगर कहा जाएगा। MSRDC को न्यू टाउन डेवलपमेंट अथॉरिटी बनाया गया है, जो 1000-1500 हेक्टेयर में शहर बसाएगी। इनमें healthcare facilities, स्किल सेंटर और आईटी पार्क होंगे। मेरे पत्रकारिता जीवन में, ऐसे urban developments ने ग्रामीण क्षेत्रों को आधुनिक बनाया है, जहां आत्मनिर्भरता बढ़ी है।

यह परियोजना land pooling model से भूमि अधिग्रहण करेगी, जहां किसानों को मुआवजा और विकसित भूमि मिलेगी। इससे export-oriented infrastructure बनेगी और लॉजिस्टिक्स हब विकसित होंगे। प्रभावित क्षेत्रों में वन्यजीव संरक्षण के लिए अंडरपास बनाए गए हैं। कुल मिलाकर, यह विकास महाराष्ट्र की 36 प्रतिशत आबादी को प्रभावित करेगा और socio-economic upliftment लाएगा।

निष्कर्ष

Mumbai-Nagpur Expressway महाराष्ट्र के विकास की नई मिसाल है, जहां connectivity और infrastructure से राज्य की अर्थव्यवस्था मजबूत हुई है। यह समृद्धि महामार्ग न केवल यात्रा को तेज बनाता है बल्कि पर्यटन, व्यापार और नए शहरों को बढ़ावा देता है। पाठकों को सोचना चाहिए कि ऐसे बदलाव कैसे उनके जीवन को आसान बनाते हैं और कैसे वे सतत विकास में योगदान दे सकते हैं। क्या यह एक्सप्रेसवे महाराष्ट्र को राष्ट्रीय स्तर पर और मजबूत बनाएगा?

अंततः, सरकार की vision और लोगों की मेहनत से ही सच्ची सफलता मिलेगी। Sustainable growth को ध्यान में रखकर, हमें सुनिश्चित करना होगा कि लाभ सभी तक पहुंचे। यह समय है चिंतन का कि बड़े प्रोजेक्ट कैसे देश के भविष्य को आकार दे रहे हैं।

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